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15.10.09

LUCKI RAM--part 10

चीं ००० [दरवाजा खुलता है ऑर एक नर्से भीतर घुसती है ]
नर्स        = दो ० देवा \डीन आपको बुला रहें है \
डॉ० देवा  = मारिया \ दरवाजा बंद कर दों\
मारिया   = क क क्यों !
डॉ०देव   =  बोला न ...शाट द डोर ...एक important बात करनी है \
मारिया   = ज ज जी [नर्स हकलाते हुए दरवाजा बंद करती है ]
डॉ ० देवा  = नॉव पुट ऑफ यौर क्लोथ्स
मारिया   =  व्हाट !
डॉ ० देवा  = अपने सारे कपडे उतारो \
मारिया  =   बट व्हाई
डॉ ० देवा  = मुझे भूख लगी है ...बीवी है नहीं    सो मैं कहाँ जाऊँ, क्या खाऊँ
मारिया   = नो ००...नेवर !
डॉ ०देवअ = तुम चाहती हो न तुम्हे हेड नर्स बनाया जाये \तुम चाहती हो न नैना की प्रमोशन न हो ...सो मैं डीन के पास जा रहा हूँ \तुम्हारी सिफारिश कर दूंगा \
मारिया   =  नो ...मैं ऐसा नहीं कर सकती
डॉ ० देवा  =पर नैना ऐसा करती है
मारिया   = तो उसी की ही प्रमोशन करिए ...
डॉ ० देवा = वो मछली क्या जो आसानी से फंस जाये ..उसका मजा अलग ही है जो इन्तजार करवाए
मारिया   = मैं मछली नहीं सो चलती हूँ [नर्स दरवाजे की तरफ बड़ती है ]
डॉ ० देवा  = तुम्हे घर ठीक करवाने के लिए लोन भी तो लेना है ...मैं दिलवा दूंगा \
मारिया   = इज्जत बेचकर पैसा कमाया तो क्या कमाया [वो दरवाजा खोलती है ]...गेट लोस्ट यूं बास्टर्ड ..
डॉ देवा   = तुम्हारे ५ साल के बेटे के दिल में छेद भी तो है ,उसका ऑपरेशन भी तो होना है ...पैसा नहीं है न ,नहीं तो ऑपरेशन कब का हो जाता ...मैं करवा दूंगा ...
        तब तक नर्स बाहर जा चुकी थी ऑर दरवाजा धीरे धीरे बंद हो रहा था कि नर्स का चेहरा दरवाजे पर चमका ..
मारिया = सच !![उसकी ऑंखें छल छला उठती हैं ऑर वो भीतेर पहुँच चुकी होती है ]
डॉ ० देवा = या! नॉव स्ट्रिप ऑफ ...पूरे कपडे उतारो [डॉ ० खडा होकर अपना कोट उतरता है ]
मारिया   = ओलाद के लिए इज्जत न बेचीं तो क्या कमाया [नर्स उसी पल अपने कपडे उतारने लगती है ]
लक्ष्मन  =  अब हटो भी [तभी लक्ष्मन अपने सामने से देवा को परे हटाता है] खाला जी का बाइस्कोप लागेला क्या ..ये तुम आई टेस्ट करेला या कुछ ऑर ?... मुंडी दुखेला मेरा \
डॉ ० देवा = ओह ![डॉ झेंपता हुआ उठता है ऑर मदान के साथ बाहर निकलता है ]
डॉ ० मदान = देखा ?
डॉ ० देवा   = आर यार !उसने तो मुझे मारिया दिखा दी \वो धक्का न देता तो मैंने पांच मिनट में ही अपनी  ब्लू फिल्म देख कर ही उठना था \
डॉ ० मदान = अब ?
डॉ ० देवा   = तुम ठीक कहते हो ...उसे रस्ते से हटाना ही होगा ...जब हम अपने कुकर्म उसकी आँखों में देख सकते हैं तो वो भी तो देखता होगा \जानता होगा \वो कभी भी हमें कानून के शिकंजे में फंसा सकता है \
डॉ मदान =   क्या ज़माना आ गया है पहले इस अंधे के देखने के बांदे थे अब इन आँखों में ज़माना दिखता है \कोई भी अपना इतिहास ,अपना पाप देख सकता है \
डॉ ० देवा = सो आँखों वाला अँधा ...ये मिराकल है तो बेहद घातक मिराकल है ...मुजरिम कानून से बच जाये ,भगवान से बच जाये ..पर इससे कैसे बचेगा \
डॉ ० मदान = ये तो पूरी दुनिया के सामने हमें नंगा करेगा \
डॉ ० देवा   =  मेरी मनो आज ही इसे इंजेक्शन दे देते हैं\
डॉ मदान  =  नहीं !रात को खाने में खिचडी आएगी \उससे इसे ऐसी नींद आएगी ऐसी नींद आएगी ...कि चिता पर भी न खुलेगी \
डॉ देवा   = ये ठीक रहेगा \खिचडी में जहर ...ऑर शक राम लुभावन पर ...सच !राम नाम के कैसे कैसे बन्दे हमारे काम आ रहें हैं  ..पहले रमाकांत अब राम लुभावन
next day =========
        लक्ष्मन खन्ना बाथरूम में घुसता है १उस्के हाथ में शेविंग किट है १वो शेव की तयारी करता है १
लक्ष्मन  = हूँ ०० शेव बहुत बढ गया ..दाड़ी बोले तो darha बनेला \वन वीक बी तो हुए ला
        इन्ही शब्दों के साथ वो अपनी ठुड्डी पर पानी मलता है ऑर क्रीम लगा कर ब्रश करने लगता है \धीरे धीरे झाग बनती जाती है \अंततः वो rajor उठाकर mirror में देखता है ऑर फिर rajor चलने लगता है कि उसकी आँखों में कोई दृश्य नाचता है
        mirror फ़िल्मी परदे के रूप में नजर आने लगता है \
        पहले दृश्य में वो बबलू की मोत का पूरा दृश्य दोनों आँखों से देखता है ..
लक्ष्मन   = आईला !उई ००० [कहीं razor अटकता है शायद ]ओ गोड !क्या कियेला मेरे कू ...
        तभी दूसरी फिल्म मारिया वाली चलनी शुरू हो जाती है ...वो अपने कपडे उतर रही होती है
लक्ष्मन   = ...ब्लू फिल्म दिखायेला \नो ०००
        फिर सीन ख़तम हो जाता है तो उसे समझ आता है कि इसी दोरान ही उसने डॉ ० देवा को मशीन से परे धकेल दिया था ,नहीं तो वो डॉ ० पूरा सीन देख कर ही उठता
लक्ष्मन    = उई वो ...हुश ..[अपनी आँखों में चलते दृश्यों की वजह से वो अपना चेहरा नहीं देख पाता अतः शेव करने में दिक्कत होती है ]
लक्ष्मन  =  भाई भाई !ये तुम क्या किया मेरे को [अपना सीना ठोकता वो बोलता है ताकि भीतर बैठे राम बाहर निकलें ]
श्री राम  =  क्या हुआ लक्ष्मन [उसके कानो में आकाश वाणी होती है ]
लक्ष्मन  =  कमाल है अपने हमाम में मेरे कू लोगां के हमाम दिखेला ...वो डॉ मदान बबलू का मर्डर कियेला मैं देखा ...नर्से मारिया अपने कपडे उतार ....
श्री राम  =  शी००० !
लक्ष्मन  =  भाई शी ००० से क्या होएंगा ..मेरे कू अपुन की मुंडी तो दिखेली ही नहीं ..ये देखो शेव बी न कर पाया मैं ..चार जगह ब्लेड लागेला ...ठुड्डी ब्लीड करेला ...ऑर आप बोलता शी ०० चुप करेला मैं ...भाई मैं चुप नहीं करेगा ....मेरी मुंडी लोगां का बाइस्कोप बनेला ...
श्री राम   = शांत लक्ष्मन शांत ...पहले स्नानघर से तो बाहर निकलो \
लक्ष्मन   = स्नानघर !?ओ येस-बोले तो हमाम ...फिर बोले तो वाश रूम
       लक्ष्मन भुन भुनाता हुआ बाहर निकलता है \पीछे पीछे श्री राम भी प्रकाश पुंज के रूप में बाहर निकलते हैं\
    

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